देखिये इस कदर न खफा होईये
हम भी जी लेंगे थोड़ा सा मुस्काइये .
हम भी जी लेंगे थोड़ा सा मुस्काइये .
हम अभी बोलते थोड़ा हकलाते हैं
सामने हों अगर सर झुका जाते हैं
हमने मुड़ मुड़ के देखा तुम्हें दूर तक
रात में ख़्वाब तुमको बुला लाते हैं .
सामने हों अगर सर झुका जाते हैं
हमने मुड़ मुड़ के देखा तुम्हें दूर तक
रात में ख़्वाब तुमको बुला लाते हैं .
कब तलक रात दिन बुत से देखा करें
एक हँसी जोर से खिलखिला जाईये .
.............हम भी जी लेंगे थोड़ा सा मुस्काइये .
एक हँसी जोर से खिलखिला जाईये .
.............हम
जिंदगी में हुए हादसे कम नहीं
सख्त पत्थर हुए हम तनिक नम नहीं
इस सहनशीलता का सिला ये मिला
सब गए छोड़ कह इसको कुछ गम नहीं .
सख्त पत्थर हुए हम तनिक नम नहीं
इस सहनशीलता का सिला ये मिला
सब गए छोड़ कह इसको कुछ गम नहीं .
अपने गम में अकेला मुझे छोड़ दो
किन्तु खुशियों में आकर समा जाईये .
.............हम भी जी लेंगे थोड़ा सा मुस्काइये .
किन्तु खुशियों में आकर समा जाईये .
.............हम भी जी लेंगे थोड़ा सा मुस्काइये .
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